एक पुराना पल जाता
है एक नया पल आता है. ले कर आ जाता है एक नई सुबह. नई ताजगी नया जोश. ये नए साल की शुरुआत की अदा होती है . एक साल खत्म
होता हो एक शुरू होता है. पल भर में मंज़र बदल जाता है. वक्त गुज़र जाता है. एक साल
और जुड़ जाता है वक़्त के समंदर में. जो बीत रहा पल है वो भी,ढेर सारी यादों के साथ
विदा लेता है ,जो आ रहा है वो भी कई नई यादों की
ज़मी तय्यार कर रहा होता है. कुछ फ़हरिस्त बन रही होती हैं. कुछ ख़्वाब जाग
रहे होते है. कुछ ख़्वाइशे पैदा हो रही होती हैं. कुछ नया सा ज़िन्दगी का आसमान
लगने लगता है. कुछ बदलाव होगा ज़िन्दगी में कुछ वही पुराना रहेगा साथ में. सभी को
ख़ुशदिली से अपना लो. ख़ुशी भी है इस बदलाव में . मुस्कान भी है शामिल इसमें. ख़ामोशी
भी है, इसी में आवाज़ भी है शामिल इसमें. और हर एक का अपना एक अलग ही सुकून और इत्मीनान होता
है. असली ख़ुशी असली सुख
यही तो है.
लम्हा नया आता अब
लम्हा-लम्हा थमकर
देखें उजाला ये नया लेकर आता या नहीं
जब मिली ख़ुशी,बेतहाशा
हँसते रहे हम
यूँ क़तरा-क़तरा हँसना
हमें आता नहीं
राहगुज़र अपनी
संवारना है ख़ुद सबको
हर मुश्किल में
बचाने मसीहा आता नहीं
गुल नए रंगों-बू में
रोज़-रोज़ खिलते रहेंगे
चुन-चुन टूटने से
इन्हें बचना आता नहीं
हर दिन एक नई क़यामत
होती है यहाँ
ख़ुशी फिर भी नए बरस
की जाती नहीं
तेरे ज़िन्दा होने की
निशानी है जहाँ में
मुस्कुराने की वजह
बेहतर इससे नहीं
मत घबरा देख काले-काले
साए यहाँ
कहती छाया ,रौशनी मुझसे दूर नहीं